नवदुर्गा – माता के नौ स्वरूप और उनका महत्व
1. शैलपुत्री
- नवरात्रि के पहले दिन पूजी जाती हैं।
- पर्वतराज हिमालय की पुत्री होने के कारण इन्हें शैलपुत्री कहा गया।
- बैल पर सवार और हाथ में त्रिशूल व कमल धारण करती हैं।
- ये स्थिरता और शक्ति की प्रतीक हैं।
2. ब्रह्मचारिणी
- दूसरे दिन ब्रह्मचारिणी माता की पूजा होती है।
- ये तपस्या, संयम और भक्ति का स्वरूप हैं।
- हाथ में जपमाला और कमंडल धारण करती हैं।
- इनकी आराधना से तप, त्याग और वैराग्य की शक्ति मिलती है।
3. चंद्रघंटा
- तीसरे दिन मां चंद्रघंटा की पूजा होती है।
- इनके मस्तक पर अर्धचंद्र के आकार की घंटा होती है।
- सिंह पर सवार और दस हाथों में शस्त्र धारण करती हैं।
- इनकी आराधना से भय और नकारात्मक शक्तियां दूर होती हैं।
4. कूष्मांडा
- चौथे दिन माता कूष्मांडा की पूजा की जाती है।
- कहा जाता है कि ब्रह्मांड की उत्पत्ति इनके दिव्य हास्य से हुई।
- ये सूर्य मंडल में निवास करती हैं और अनंत शक्तियों की दात्री हैं।
- इनकी उपासना से आरोग्य और दीर्घायु प्राप्त होती है।
5. स्कंदमाता
- पांचवे दिन मां स्कंदमाता की पूजा होती है।
- ये भगवान कार्तिकेय (स्कंद) की माता हैं।
- सिंह पर सवार और गोद में कार्तिकेय को धारण करती हैं।
- इनकी आराधना से संतान सुख और पारिवारिक सुख-शांति मिलती है।
6. कात्यायनी
- छठे दिन मां कात्यायनी की पूजा की जाती है।
- ऋषि कात्यायन के तप से उत्पन्न होने के कारण इनका नाम कात्यायनी पड़ा।
- सिंह पर सवार और चार हाथों में शस्त्र धारण करती हैं।
- ये शक्ति, साहस और विजय की देवी हैं।
7. कालरात्रि
- सातवें दिन मां कालरात्रि की आराधना होती है।
- इनका स्वरूप अत्यंत उग्र और भयानक है, परंतु ये भक्तों की रक्षा करती हैं।
- ये राक्षसों और नकारात्मक शक्तियों का संहार करती हैं।
- इनकी पूजा से भय दूर होता है और साहस की प्राप्ति होती है।
8. महागौरी
- आठवें दिन मां महागौरी की पूजा की जाती है।
- इनका रंग अत्यंत गौर और उज्ज्वल है।
- ये श्वेत वस्त्र धारण करती हैं और बैल पर सवार रहती हैं।
- इनकी आराधना से शांति, पवित्रता और वैवाहिक सुख की प्राप्ति होती है।
9. सिद्धिदात्री
- नवरात्रि के अंतिम दिन मां सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है।
- ये सभी प्रकार की सिद्धियां और शक्तियां प्रदान करती हैं।
- कमल पर विराजमान होकर भक्तों को आशीर्वाद देती हैं।
- इनकी पूजा से ज्ञान, समृद्धि और सिद्धियों की प्राप्ति होती है।
निष्कर्ष
नवरात्रि में माता दुर्गा के इन नौ स्वरूपों की पूजा करने से भक्तों के सभी कष्ट दूर होते हैं और जीवन में शक्ति, भक्ति, ज्ञान और सुख-समृद्धि का वास होता है। नवदुर्गा की आराधना आत्मविश्वास और सकारात्मक ऊर्जा का संचार करती है।
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